परिचय
हिंदी फिल्म जगत और टेलीविजन के बहुप्रतिभाशाली अभिनेता मुकुल देव का 23 मई 2025 को 54 वर्ष की उम्र में निधन हो गया। यह खबर फिल्म इंडस्ट्री और उनके चाहने वालों के लिए किसी सदमे से कम नहीं थी। अपने तीन दशक लंबे करियर में मुकुल देव ने कई भाषाओं की फिल्मों और टीवी धारावाहिकों में यादगार भूमिकाएं निभाईं।
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प्रारंभिक जीवन
मुकुल देव का जन्म 17 सितंबर 1970 को नई दिल्ली में हुआ था। वे एक पंजाबी परिवार से ताल्लुक रखते थे। उनके पिता हरि देव दिल्ली पुलिस में सहायक आयुक्त थे और उन्हें वीरता पुरस्कार से सम्मानित किया गया था। मुकुल के बड़े भाई राहुल देव भी एक जाने-माने अभिनेता और मॉडल हैं।
मुकुल की प्रारंभिक शिक्षा दिल्ली के प्रतिष्ठित सेंट कोलंबा स्कूल से हुई। इसके बाद उन्होंने इंदिरा गांधी राष्ट्रीय उड़ान अकादमी (IGRUA), रायबरेली से पायलट की ट्रेनिंग ली, लेकिन उनका रुझान अभिनय की ओर अधिक था, जिस कारण वे मनोरंजन जगत में आ गए।
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अभिनय की शुरुआत
मुकुल ने अपने करियर की शुरुआत 1996 में दूरदर्शन के धारावाहिक ‘मुमकिन’ से की। इसी वर्ष उन्होंने फिल्म ‘दस्तक’ से बॉलीवुड में डेब्यू किया, जिसमें उन्होंने एसीपी रोहित मल्होत्रा की भूमिका निभाई। यह फिल्म मिस यूनिवर्स सुष्मिता सेन की पहली फिल्म भी थी।
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फिल्मी सफर
मुकुल देव ने 1990 और 2000 के दशक में कई फिल्मों में महत्वपूर्ण भूमिकाएं निभाईं, जिनमें शामिल हैं:
किला (1998)
वजूद (1998)
कोहराम (1999)
मुझे मेरी बीवी से बचाओ (2001)
यमला पगला दीवाना (2011)
सन ऑफ सरदार (2012)
आर… राजकुमार (2013)
जय हो (2014)
उनकी बहुआयामी प्रतिभा को पहचान तब मिली जब उन्होंने 'यमला पगला दीवाना' में अपनी भूमिका के लिए अमरीश पुरी अवॉर्ड जीता।
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टेलीविजन में मुकुल का योगदान
फिल्मों के साथ-साथ मुकुल देव ने टीवी की दुनिया में भी काफी योगदान दिया। उन्होंने निम्नलिखित धारावाहिकों में काम किया:
कहीं दिया जले कहीं जिया (2001)
कहानी घर घर की (2003)
प्यार जिंदगी है (2003)
घरवाली ऊपरवाली (2000-2003)
इसके अलावा वे ‘फियर फैक्टर इंडिया’ के पहले सीजन के होस्ट भी रहे।
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अन्य भाषाओं की फिल्में
मुकुल देव ने सिर्फ हिंदी में ही नहीं, बल्कि पंजाबी, तेलुगु, कन्नड़, मलयालम और बंगाली भाषाओं की फिल्मों में भी अभिनय किया। उन्होंने बहुभाषी फिल्म इंडस्ट्री में एक पहचान बनाई, जो उनकी अभिनय क्षमता और बहुमुखी प्रतिभा का प्रमाण है।
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निजी जीवन
मुकुल की शादी शिल्पा देव से हुई थी, लेकिन 2005 में उनका तलाक हो गया। इस रिश्ते से उन्हें एक बेटी सिया हुई। तलाक के बाद सिया अपनी मां के साथ रहने लगीं। मुकुल के पिता का निधन 2019 में हुआ, जिसके बाद से वे भावनात्मक रूप से टूट गए थे।
उनके करीबी दोस्त विंदू दारा सिंह के अनुसार, मुकुल पिछले कुछ समय से डिप्रेशन से जूझ रहे थे, खासकर अपनी मां की मृत्यु के बाद। उन्होंने अपनी सेहत की परवाह करना छोड़ दिया था, जिससे उनकी तबीयत लगातार गिरती गई।
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अंतिम फिल्म और निधन
मुकुल देव की आखिरी फिल्म थी ‘अंत: द एंड’ (2022), जिसमें उन्होंने दिव्या दत्ता और देव शर्मा के साथ काम किया। यह फिल्म उनके करियर की अंतिम पेशकश साबित हुई।
23 मई 2025 को 54 वर्ष की उम्र में, उन्होंने दिल्ली के एक अस्पताल में अंतिम सांस ली। उनके निधन की खबर से बॉलीवुड में शोक की लहर दौड़ गई। मनोज बाजपेयी, सोनू सूद, और विंदू दारा सिंह जैसे सितारों ने सोशल मीडिया पर उन्हें श्रद्धांजलि दी।
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मुकुल देव की विरासत
मुकुल देव उन चुनिंदा कलाकारों में से थे जो पर्दे पर अपने किरदारों में डूब जाते थे। वे नायक, खलनायक, कॉमिक रोल या फिर एक गंभीर पुलिस अफसर—हर किरदार में सहज नजर आते थे। उन्होंने अपने काम से कई कलाकारों को प्रेरित किया।
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निष्कर्ष
मुकुल देव का जीवन अभिनय और समर्पण की एक सजीव मिसाल है। उन्होंने फिल्मों, टीवी और विभिन्न भाषाओं की सिनेमा में अपने अभिनय से जो छाप छोड़ी है, वह सदैव याद की जाएगी। 54 वर्ष की उम्र में उनका इस दुनिया से जाना इंडस्ट्री के लिए एक बड़ी क्षति है।
उनकी यादें, उनकी फिल्में और उनका सहज अभिनय हमेशा दर्शकों के दिलों में जीवित रहेगा।
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